जनादेश/अहमदाबाद। गुजरात के सुरेंद्रनगर जिला अदालत ने बीजेपी विधायक हार्दिक पटेल के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया है। कोर्ट ने यह कार्रवाई 2017 के एक मामले में पेश नहीं होने पर की है। अतिरिक्त मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट डीडी शाह ने सुरेंद्रनगर जिले के ध्रांगधरा तालुका पुलिस थाने के प्रभारी अधिकारी को पटेल को गिरफ्तार करने और अदालत में पेश करने का आदेश दिया। दरअसल, हार्दिक पटेल ने 2017 के गुजरात विधानसभा चुनाव से पहले सुरेंद्रनगर जिले के एक गांव में सरकारी आदेश का उल्लंघन करते हुए राजनीतिक भाषण दिया था।
इस मामले में 12 जनवरी, 2018 को एफआईआर दर्ज की गई थी। प्राथमिकी के मुताबिक, हार्दिक पटेल और उनके साथी कौशिक पटेल ने विधानसभा चुनाव से पहले 26 नवंबर, 2017 को गांव में एक बैठक आयोजित करने की अनुमति मांगी थी। उन्हें बैठक की अनुमति दी गई थी। इस दौरान उन्होंने अपने भाषण में अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट द्वारा जारी अधिसूचना का कथित रूप से उल्लंघन किया था। इसके बाद उन पर धारा 37 (3) और 135 के तहत मामला दर्ज किया गया था। ऐसे ही एक मामले में जामनगर की अदालत ने हार्दिक पटेल को बरी कर दिया है।
पटेल ने धुतरपार गांव में एक रैली के दौरान सरकारी आदेशों का उल्लंघन करते हुए भाषण दिया था। उस समय, पटेल ने पाटीदार अनामत आंदोलन समिति (पीएएएस) का नेतृत्व किया था। बता दें कि हार्दिक पटेल 2019 में कांग्रेस में शामिल हुए थे। हालांकि, 2022 में गुजरात विधानसभा चुनाव से पहले उन्होंने कांग्रेस छोड़कर बीजेपी का दामन थाम लिया था। बीजेपी ने उन्हें अहमदाबाद की वीरमगाम सीट से टिकट दिया था। हार्दिक पटेल के खिलाफ गुजरात में राजद्रोह के दो मामलों सहित दो दर्जन से अधिक मामले दर्ज हैं।